Top 22 Bhubaneswar me ghumne ki jagah - के साथ घूमने की सम्पूर्ण जानकारी

भुवनेश्वर अपने इतिहास और संस्कृति के लिए जाना जाता है। जहा पर सैकड़ों की संख्या में हजारों वर्षों से भी पुराने मंदिर मौजूद है। जो इस शहर की सांस्कृतिक और ऐतिहासिक समृद्धि को दर्शाते है। भुवनेश्वर में घूमने की जगहों में यहां का सबसे प्रसिद्ध मंदिर लिंगराज मंदिर, उदयगीरी और खंडगिरी की गुफाएं, राजारानी मंदिर और धौली हिल्स जैसे खूबसूरत दर्शनीय और पर्यटन स्थल उपलब्ध है। 

भुवनेश्वर ओडिसा की राजधानी होने के साथ साथ ओडिसा का प्रमुख शहर भी है। यह शहर विकास की बुलंदियों को छूते हुए भी अपनी संस्कृति को आज भी अपने आंचल में समेटे हुए है। इंफ्रास्ट्रक्चर की ऊंचाई को चुने के बाद भी अपने मंदिरों की ऐतिहासिक वास्तुकला में भी विश्वास रखता है।

अगर आप आने वाले समय में भुवनेश्वर की यात्रा करने के बारे में सोच रहे है। तो हम इस लेख में  आपको वो तमाम जानकारी देंगे जो एक पर्यटन के लिए भुवनेश्वर की यात्रा करते समय उपयोगी हो सकती है। 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

इस लेख के प्रमुख प्वाइंट संक्षिप्त में 

  1. भुवनेश्वर में घूमने की जगह 
  2. भुवनेश्वर में छिपे हुए पर्यटन स्थल 
  3. भुवनेश्वर में घूमने का सही समय 
  4. भुवनेश्वर घूमने का खर्चा 
  5. भुवनेश्वर के प्रसिद्ध और स्थानीय खान पान
  6. भुवनेश्वर में खरीददारी के लिए मुख्य बाजार
  7. भुवनेश्वर में फोटोग्राफी और सनसेट प्वाइंट 
  8. भुवनेश्वर का पारंपरिक पहनावा 
  9. भुवनेश्वर की यात्रा कम बजट में कैसे करे
  10. भुवनेश्वर में रुकने के लिए होटल्स
  11. भुवनेश्वर कैसे पहुंचे 
  12. QNA 
  13. निष्कर्ष 
  14. More Post 


1 भुवनेश्वर में घूमने की जगह 

1 लिंगराज मंदिर 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

लिंगराज मंदिर भुवनेश्वर में स्थित एक ऐतिहासिक और पवित्र मंदिर है। जो हिंदू अनुयाई के लिए बहुत ही पवित्र मान्यता रखता है। मंदिर में हर रोज श्रद्धालु भारी संख्या में भगवान शंकर के समक्ष अपनी मनोकामनाओ को रखने आते है। मंदिर मुख्य रूप से भगवान शंकर को समर्पित है। 

जिनकी मूर्ति इस मंदिर के गर्भगृह में स्थापित हैं। इस मूर्ति के बारे में यह भी कहा जाता है, की यह मूर्ति प्राकृतिक रूप से उत्पन्न हुई है। इसीलिए इसे ' स्वयंभू' मूर्ति भी कहा जाता है। 

साथ ही यह मंदिर पर्यटन दृष्टि से भी एक महत्वपूर्ण मंदिर है। खासकर ऐसे लोगो के लिए जो इतिहास और वास्तुकला के बारे में जानने को हमेशा तत्पर रहते हैं। यह मंदिर महाशिवरात्रि के पर्व में एक अलग ही माहौल में होता हैं। 

जब भगवान शिव के भक्त यहां पर इस पर्व में बढ़ चढ़कर भाग लेते है। हालांकि आपको यहां पर भी बताते चले की इस मंदिर में गैर हिन्दू के प्रवेश पर पाबंदी है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

अगर आप लिंगराज मंदिर में दर्शन करने महाशिवरात्रि के समय जाते हैं। तो सुबह जल्दी चले जाए। क्योंकि इस खास दिन में लिंगराज मंदिर में श्रद्धालुओ की भीड़ ज्यादा होती है।


2 उदयगिरी और खंडगिरी की गुफाएं   

भुनेश्वर में घूमने की जगह

उदयगिरी और खंडगिरी की गुफाएं भुवनेश्वर के समृद्ध इतिहास की झलक है। यह गुफाएं 2 पहाड़ियों में स्थित है। इसमें पर्यटकों के लिए बहुत कुछ खास है। जहा पर इतिहास प्रेमी लोग इतिहास की बारीकियों और उस समय की वास्तुकला के बारे में जान सकते है। 

यहां पर उदयगिरि में 18 गुफाएं है। जो अलग - अलग खूबसूरत नक्काशी से निर्मित है। इसमें खासकर रानी गुफा पर्यटकों के मध्य काफी लोकप्रिय है। इसमें संस्कृति भाषा की लिखावट की देख पाएंगे। 

वही अनंत गुफा और हाथीगुम्फा जो खंडरीरी की गुफाओं में सबसे लोकप्रिय गुफाएं है। 

इन गुफाओं का निर्माण जैन मुनियों या शाधुओ के ध्यान और निवास के लिए किया गया था। इन गुफाओं का वातावरण काफी है, जो इसे भुवनेश्वर में घूमने लायक जगहे बनाती है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

गुफाओं में घूमने जाने से पहले आरामदायक और मजबूत जूते अवश्य पहन ले। क्योंकि गुफाओं में रास्ते काफी ऊबड़ खाबड़ और कही कही पथरीले है। साथ सूर्य की किरणों से बचने के लिए भी अपने साथ जरूरी सामान रखे।


3 नंदनकानन जूलॉजिकल पार्क 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

नंदनकानन जूलॉजिकल पार्क भुवनेश्वर का वन्यजीव उद्यान है। जो अपने समृद्ध वन्यजीव संरक्षण के लिए जाना जाता है। यह पार्क 400 हेक्टेयर के विशाल क्षेत्र में फैला हुआ है। और आपको बता दे की इस पार्क को भारत के सबसे बेहतरीन जूलॉजिकल पार्कों में से भी एक माना जाता है। जो इसे एक लोकप्रिय पार्क का भी दर्जा देता है। 

पर्यटन दृष्टि से 

यहां पर पर्यटकों के लिए देखने को बहुत कुछ है। जिसमे वो सफेद बाघ, भारतीय घड़ियाल और शेर जैसे जानवरो को देख सकते है। साथ ही यह पार्क सफारी की भी सुविधा उपलब्ध करता है। जिससे पर्यटक इस विशाल पार्क में मौजूद जानवरो और इस पार्क की प्राकृतिक खूबसूरती का नजारा देख सकते है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

अगर आप यहां पर सफारी करना चाहते है। तो इसके लिए सुबह या शाम के समय का चयन करे। क्योंकि इस समय में अधिक जानवर देखने को मिलेंगे और साथ ही सफारी की बुकिंग भी पहले से ही कर ले।


4 राजारानी मंदिर 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

राजारानी भुवनेश्वर के साथ साथ पूरे भारत के सबसे अलग और अनूठे मंदिरों में से एक है। क्योंकि इस मंदिर के गर्भगृह में किसी भी देवी या देवताओं की मूर्ति नहीं है। हालांकि यह मंदिर एक हिंदू मंदिर है। जिसके दीवारों और अन्य जगहों पर अलग - अलग हिंदू देवी देवताओं के चित्रों और मूर्तियां लगी हुई है। जिनकी वास्तुकला जटिल और बेहद आकर्षक है। 

पर्यटन दृष्टि से 

यह मंदिर उन लोगो के लिए महत्वपूर्ण जगह, जो जोड़े(पति और पत्नी/ प्रेमी और प्रेमिका) में भुवनेश्वर घूमने जा रहे है। क्योंकि इस मंदिर को प्रेम मंदिर कहा जाता है। जो इसे भुवनेश्वर में घूमने वाली जगहों में एक विशेष स्थान देती है। इसके अलावा इस मंदिर की वास्तुकला और स्थापत्य कला उन पर्यटक के बीच एक आकर्षण केंद्र है। जो इतिहास और कला प्रेमी है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

अगर आप वास्तुकला में और इतिहास के बारे में अधिक विस्तृत जानकारी लेना चाहते हैं। तो एक गाइड इस मंदिर में जाने से पहले अपने साथ लेकर जरूर जाए। जो आपको और अच्छे से जानकारी देगा।


5 धौली हिल

भुनेश्वर में घूमने की जगह

धौली हिल भुवनेश्वर की एक महत्वपूर्ण ऐतिहासिक जगह है। जहा पर विश्वविख्यात कलिंग का भयंकर युद्ध हुआ था। जिसके बाद सम्राट अशोक ने बौद्ध धर्म अपनाया था। यहां पर शांति स्तूप भी मौजूद है। 

जो पर्यटक के बीच में खासा लोकप्रिय है। इस स्तूप का रंग सफेद है। जो शांति का संदेश देता है। और इसके अलावा यहां पर अशोक के शिलालेख भी मिलते है। 

पर्यटन दृष्टि से 

धौली हिल पर्यटन दृष्टि से भी एक शानदार जगह है। जहा पर इतिहास, संस्कृति का संगम देख पाएंगे। इसके अलावा यहां से आप दया नदी के सुगम और शानदार दृश्यों को भी देख पायेंगे। साथ पर्यटक यहां से शांति का और समृद्धि का भी संदेश ले सकते है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

धौली हिल बौद्ध शांति स्तूप है। जहा पर ध्यान और शांति से समय बिताने के बारे में अवश्य सोचे। साथ ही आस के पास के प्राकृतिक दृश्यो का भी आनंद जरूर ले


6 मुक्तेश्वर मंदिर  

भुनेश्वर में घूमने की जगह

मुक्तेश्वर मंदिर 10 वी सदी में बना हुआ मंदिर है। जो भुवनेश्वर की प्राचीन संस्कृति और वास्तुकला का एक उत्कृष्ट नजारा है। यह मंदिर एक हिंदू मंदिर है, जो भगवान शंकर को समर्पित है। यह मंदिर कलिंग की वास्तुसैली से बना हुआ है। इस मंदिर में कई आकर्षण है। इस मंदिर की दीवारों पर पौराणिक कथाओं की नक्काशी भी देखने को मिलती है। साथ ही मंदिर के प्रवेश द्वार पर भी सुन्दर वास्तुकला से मूर्तियों की सजाया गया है। 

पर्यटन दृष्टि से 

यह मंदिर पर्यटको के लिए इतिहास, संस्कृति और वास्तुकला का नजारा पेश करता है। जो उन पर्यटकों में खासा लोकप्रिय है। जो इतिहास और संस्कृति प्रेमी है। साथ मंदिर का वातावरण काफी शांत है। जो पर्यटकों को ध्यान और शांति से कुछ क्षण बिताने का अवसर देता है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

मंदिर की अद्भुत वास्तुकला को बारीकी से समझे और शांत वातावरण में समय बिताए।

7 बिंदुसागर झील 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

बिंदुसागर झील भुवनेश्वर के प्रसिद्ध मंदिर लिंगराज के नजदीकी क्षेत्र में स्थित है। जो एक पवित्र झील मानी जाती है और साथ में प्राचीन भी। इस झील के बारे में मान्यता है की इस झील में भारत की विभिन्न पवित्र नदियों का जल लाकर मिलाया गया है। 

जो इस झील को एक धार्मिक महत्व देती है। साथ इस झील के किनारे कर कई सारे पवित्र मंदिर भी मौजूद है। जिससे इस झील का धार्मिक और महत्व भी बढ़ जाता है। इस झील में श्रद्धालु स्नान करके अपने आप को पवित्र महसूस करते है। 

पर्यटन दृष्टि से 

यह झील पर्यटकों के लिए शांत और सुखमय वातारण की प्रस्तुति करती है। यह झील भुवनेश्वर में घूमने लायक जगहों में शामिल है, जहा पर आप शांत और सुखमय वातावरण को महसूस कर पाएंगे। साथ ही यहां पर सूर्यास्त का नजारा भी देख सकते है। जो यहां पर आने वाले पर्यटकों के लिए एक यादगार लम्हा होता है।

यात्रा के लिए सुझाव 

झील के किनारे पर मंदिरों में दर्शन करे। और झील के शांत वातावरण में मंत्रमुक्त हो सकते हैं


8 अनंत वासुदेव मंदिर 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

यह मंदिर भगवान श्री कृष्ण को समर्पित एक हिंदू मंदिर है। जिसका निर्माण 13 वी शताब्दी में किया गया था। इसका श्री कृष्ण भक्त गंगा वंश के राजाओं ने करवाया था। यह मंदिर भुवनेश्वर में मौजूद मुख्य धार्मिक स्थल है। जिसमे भगवान श्री और उनके साथ बलराम और सुभद्रा जी की मूर्तियों को स्थापित किया गया है। इस मंदिर में एक रसोई है, जहा पर पारंपरिक ओडिसा का भोजन बनता है। और वह भोजन भक्तो को प्रसाद  स्वरूप में दिया जाता है। 

पर्यटन दृष्टि से 

मंदिर पर्यटकों और कृष्ण भक्तो के लिए एक शानदार जगह है। जहा पर भक्त अपनी श्रद्धा और पर्यटक इस मंदिर की वास्तुकला के कायल है। साथ ही यह मंदिर एक विशेष धार्मिक यात्रा का भाग है। यह मंदिर श्रद्धालुओ और पर्यटकों दोनो के ही लिए एक विशेष जगह है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

मंदिर के रसोई घर में बनने वाले प्रसाद का स्वाद लेना न भूलें। साथ ही मंदिर में पूजा पाठ जैसी धार्मिक गतिविधि का भी हिस्सा बन सकते है।

9 ओडिसा राज्य संग्रहालय 

भुनेश्वर में घूमने की जगह


ओडिसा राज्य संग्रहालय राजधानी भुवनेश्वर में स्थित एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व वाली जगह है। जिसको 1932 में स्थापित किया गया था। यह संग्रहालय ओडिसा की संस्कृति, इतिहास और अलग अलग जनजातियों का संग्रह है। जिसमे विभिन्न प्रकार के हथियार, पांडुलिपिया, और प्राचीन मूर्तियों को संग्रह करके रखा गया है। जो ओडिसा की संस्कृति को करीब से दिखाता है

पर्यटन दृष्टि से 

पर्यटन दृष्टि से भी ओडिसा राज्य संग्रहालय भुवनेश्वर में घूमने लायक जगह है। जहा पर पर्यटक ओडिसा की संस्कृति को जान सकते है। साथ ही यह जगह ओडिसा के इतिहास की भी झलक दिखाती है। जिससे यह स्थान वैसे तो सभी प्रकार के पर्यटकों के लिए आदर्श जगह है, लेकिन विशेष रूप से उनके लिए काफी अच्छी जगह है, को ओडिसा की संस्कृति के बारे में जानने में रुचि रखते है। 

यात्रा के लिए सुझाव

यहां पर मौजूद विभिन्न कलाओं और मूर्तियों के बारे में जानकारी प्राप्त करे। और कलाओं के बारे में गहराई से जानने के लिए गाइड की मदद भी ले सकते है।


10 पारसुरमेश्वर मंदिर 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

पारसुरमेश्वर मंदिर भुवनेश्वर के स्थित सबसे प्राचीन मंदिरों में से एक है। जिसका निर्माण करीब 7 वी सदी में हुआ था। यह मंदिर मुख्य रूप से भगवान शंकर को समर्पित है। इस मंदिर में की गई स्थापत्य कला भारत और ओडिसा की महान संस्कृति को दर्शाती है। मंदिर में विशेष कर भगवान शिव, माता पार्वती और उनके पुत्र  गणेश जी की मूर्तियां और चित्रों को चित्रित किया गया है। इस मंदिर में वैसे तो कई आकर्षण और मनमोहक वास्तुकला है। लेकिन इस मंदिर के टॉप यानी शिखर की वास्तुकला सबसे जटिल और बेहद आकर्षक है। 

पर्यटन दृष्टि से 

मंदिर ओडिसा के समृद्ध इतिहास और संस्कृति को दर्शाता है। पर्यटक यहां पर भगवान शिव के दर्शन कर सकते है। और इस मंदिर में मौजूद प्राचीन चित्रों और खूबसूरत मूर्तियों की कला का भी दीदार कर सकते है। साथ ही इस मंदिर का वातावरण भी शांत और मनमोहक है। जो इस जगह को ध्यान का केंद्र बनाती है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

मंदिर की वास्तुकला के बारे में जानकारी प्राप्त करे और इसकी खूबसूरती को निहारे। साथ ही अधिक भीड़ भाड़ से बचने के लिए मंदिर की समय सारणी पर भी ध्यान दे।


11 रामचंडी मंदिर 

भुनेश्वर में घूमने की जगह


रामचंडी मंदिर ओडिसा की राजधानी भुवनेश्वर के नजदीक स्थित एक धार्मिक स्थल है। जो मुख्य रूप से देवी रामचंडी को समर्पित है। देवी रामचंडी को ओडिसा में काफी लोकप्रिय और प्रमुख देवियों में गिना जाता है। यह मंदिर एक सरल और पारंपरिक वास्तुकला से बना हुआ है। जो श्रद्धालुओ के बीच काफी पवित्र माना जाता है। मंदिर महानदी के किनारे पर स्थित होने के कारण प्रमुख प्राकृतिक स्थलो में भी आता है। 

पर्यटन दृष्टि से

यह मंदिर श्रद्धालुओ के साथ साथ यहां आने वाले पर्यटको को भी एक शांत वातावरण का अनुभव कराता है। इस मंदिर के आस पास का दृश्य प्राकृतिक और मनमोहक है। जो यहां आने वाले पर्यटकों को मंत्रमुक्तं कर देता है। रामचंडी मंदिर भुवनेश्वर का पर्यटन स्थल होने के साथ ही साथ प्रमुख धार्मिक स्थल भी है। 

यात्रा के लिए सुझाव

मंदिर के पास में बह रही नदी के किनारे पर टहलने के लिए समय अवश्य निकाले और साथ ही आध्यमिक दृष्टि से भी यहां पर ध्यान में कुछ समय के लिए लीन हो सकते है।


12 एकाम्र बॉटेनिकल गार्डन 

यह उद्यान भुवनेश्वर का एक प्रमुख उद्यान है। जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता और अलग अलग प्रकार के पौधो के लिए प्रसिद्ध है। इस गार्डन में एक झील भी मौजूद है। जहा पर पर्यटन नौका विहार जैसे मजेदार गतिविधि में भी भाग ले सकते है।  इस गार्डन का मुख्य आकर्षण एक कैक्टस हाउस है, जहा पर कैक्टस की विभिन्न प्रजातियों शामिल है। 

पर्यटन दृष्टि से 

एकाम्र बॉटेनिकल गार्डन पर्यटक के लिए काफी मजेदार जगह है। जहा कर लोग अपने परिवार और बच्चो के साथ एक यादगार दिन बीता सकते है, झील में बोटिंग कर सकते है, और प्रकृति की सुंदरता में खो सकते है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

गार्डन में झील में बोटिंग करने का आनंद जरूर ले। और साथ ही यहां पर मौजूद कैक्टस हाउस का भी भ्रमण अवश्य करें।

 

13 इस्कान मंदिर भुवनेश्वर 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

इस्कान अपनी बेहतरीन वास्तुकला और मंदिरों के लिए प्रसिद्ध है। भुवनेश्वर में स्थित यह इस्कान मंदिर भगवान श्री कृष्ण और राधा रानी को समर्पित है। जिसमे नियमित रूप से पूजा पाठ, आरती और अन्य धार्मिक गतिविधियां होती है। यह मंदिर पारंपरिक और जटिल वास्तुसैली का नजारा है। जो भुवनेश्वर का मुख्य धार्मिक स्थल है। 

पर्यटन दृष्टि से 

पर्यटकों के लिए भी यह मंदिर एक शानदार जगह है। जहा पर वे सबसे पहले तो भगवान श्री कृष्ण के दर्शन कर सकते है। फिर पर्यटक इस मंदिर की विशालता का भी अनुभव कर पायेंगे। इस्कान मंदिर भुवनेश्वर में घूमने वाली प्रमुख जगहों में शामिल है। जहा पर पर्यटक शांति से समय बिता सकते है और अपनी यात्रा की आगे की प्लानिंग कर सकते है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

मंदिर की वास्तुकला पर नजर अवश्य दे। और साथ ही इस मंदिर में होने वाली धार्मिक गतिविधियों (पूज,पाठ) आदि में भी भाग ले।


14 एकमेश्वर मंदिर

यह मंदिर भुवनेश्वर का एक प्राचीन मंदिर है। जो मुख्य रूप से भगवान शिव को समर्पित हिंदू मंदिर है। और इसे आम बोलचाल की भाषा में एकाम्र हट भी कहा जाता है। इस मंदिर का निर्माण करीब 11 वो सदी में हुआ था। जो आज के समय में पर्यटक और श्रद्धालुओ के लिए एक महत्वपूर्ण जगह है। इस मंदिर की वास्तुकला और मूर्ति भी अदभुत है। जो इसे एक खास और आकर्षक मंदिर बनाती है। 

पर्यटन दृष्टि से 

पर्यटन के लिए यह मंदिर प्राचीन खोज में रुचि रखने वाले लोगो की विशेष जगह है। जहा पर पर्यटक इस मंदिर की उत्कृष्ट वास्तुकला को देख सकते है। और साथ ही यह मंदिर आगुंतको के लिए एक शांत वातावरण भी पेश करता है। जो शांति की चाह रखने वाले पर्यटकों के दृष्टि में एक अच्छी जगह मानी जाती है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

यहां की प्राचीन वास्तुकला को देखे और इसके बारे में जानकारी प्राप्त करे।


15  भास्केश्वर मंदिर 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

भास्केश्वर मंदिर भुवनेश्वर में स्थित एक शिव मंदिर है। जो अपनी समृद्ध इतिहास और वास्तुकला के लिए प्रसिद्ध है। इस मंदिर में भगवान शिव की शिवलिंग को मुख्य रूप से गर्भगृह में स्थापित किया गया है। 

साथ इसके अलावा भी कई और देवी देवताओं और मिथकीय चरित्रों को भी दर्शाया गया है। इस मंदिर की जटिल स्थापत्य कला और संस्कृति महत्व है। जो इसे एक लोकप्रिय मंदिर बनाता है। यह मंदिर 7 वी शताब्दी में बना हुआ है। 

पर्यटन दृष्टि से 

पर्यटक दृष्टि से यह भुवनेश्वर में घूमने वाली जगहों में एक महत्वपूर्ण स्थान रखता है। जहा पर पर्यटक सबसे पहले भगवान शिव के दर्शन कर सकते हैं। बाद में वह इस मंदिर की नक्काशी और 7 शताब्दी की वास्तुकला का नजारा भी देख सकते है। और अंत में शांत वातावरण में एक खूबसूरत यादों को संजो सकते है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

मंदिर के सुंदर स्थापत्य कला को निहारे और मंदिर के शांत के वातावरण का अनुभव करें ।


16 नित्य ग्राम 

नित्य ग्राम मुख्य रूप से ओडिसा के निर्त्यो की एक प्राचीन विराशत है। जो भारतीय संस्कृति के अभिन्न अंग नित्य को संरक्षित करने के साथ साथ उसे बढ़ावा भी देता है। इस जगह कर मुख्य रूप से ओडिसा के पारंपरिक निर्त्यों का आयोजन होता है। साथ ही यहां पर नित्य की विभिन्न कार्यशाला भी मौजूद है। यहां पर पर्यटक नित्य और कला आदि के क्षेत्र में मरोरंजन के साथ साथ उसकी बारीकियों को भी समझ सकते है। 

पर्यटन दृष्टि से 

पर्यटक यहां पर नित्य और कला से संबंधित यात्रा कर सकते है। जिसमे वो यहां पर आयोजित होने वाले पारंपरिक नृत्य में भाग ले सकते है। और साथ ही ओडिसा की संस्कृति को और भी करीब से जान सकते हैं 

यात्रा के लिए सुझाव 

यहां पर जाने से पहले इसकी समय सारणी के बारे में जानकारी प्राप्त ले। इसके बाद यहां जाकर ओडिसा के पारंपरिक निर्त्यों और संस्कृति में गुलमिल जाए।


17 ओडिसा क्राफ्ट म्यूजियम 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

ओडिसा क्राफ्ट म्यूजियम, हस्तशिल्प कलाकारों के लिए महत्वपूर्ण जगह है। जहां पर हस्तशिल्प कलाओं का संग्रह है। आप यहां पर धातु के शिल्प, बर्तन और पारंपरिक वस्तुओ के देख सकते है। यह म्यूजियम भुवनेश्वर में ऐतिहासिक और संस्कृति महत्व रखता है। जहा पर कलाकार अपनी कलाओं को उजागर करते है। साथ ही यह म्यूजियम स्थानीय कलाकारों की कलाओं को भी एक मंच देता है। जहा पर वह अपनी कला का प्रदर्शन कर सकते है। 

पर्यटन दृष्टि से 

ओडिसा क्राफ्ट म्यूजियम पर्यटन के लिए काफी कुछ करने और सीखने लायक जगह है। जहा कर पर्यटन इस म्यूजियम में मौजूद विभिन्न प्रकार की कलाओं के बारे में जान सकते है। और साथ ही यहां से वह ओडिसा की समृद्ध संस्कृति की भी जानकारी ले सकते है। 

यात्रा के लिए सुझाव 

यहां की स्थानीय और अलग अलग प्रकार की हस्तशिल्प कलाओं के बारे में जानती प्राप्त करे। और यहां होने वाली कलाओं के कार्यक्रमो में भी भाग ले सकते है


2 भुवनेश्वर के छिपे हुए पर्यटन स्थल 


18 आत्री हॉट स्प्रिंग्स 

यह भुवनेश्वर में स्थित एक प्राकृतिक गर्म जल वाली जगह है। जो स्थानीय लोगो के मध्य तो काफी लोकप्रिय और प्रमुख जगह है। लेकिन पर्यटक यहां पर बहुत कम या ना के बारे आते है। 


19 चंद्रगिरी हिल्स 

भुनेश्वर में घूमने की जगह

भुवनेश्वर से कुछ ही दूरी पर स्थित चंद्रगिरी हिल्स एक बेहतरीन प्राकृतिक अनुभव प्रदान करने वाली जगह है। लेकिन यह भुवनेश्वर में आने वाले पर्यटक के द्वारा काफी कम देखी जाने वाली जगह है। इसकी खुबसरती किसी भी प्रकार से कम नही है। इसका वातावरण काफी शांत है। 


20 धौली हिल के पास में स्थित मंदिर 

हालांकि धौली हिल भुवनेश्वर का एक लोकप्रिय पर्यटन स्थल है। लेकिन इसके आस पास में क्षेत्र में कुछ इसे मंदिर है। जिनकी उत्तम वास्तुकला और शांत वातावरण है। लेकिन उन जगहों तक काफी कम पर्यटन ही पहुंच पाते है। जो ऐतिहासिक दृष्टि से भी काफी महत्त्व रखने वाले मंदिर है। 


21 एकालिंगेश्वर मंदिर 

यह मंदिर भुवनेश्वर से कटक जाने वाले रास्ते के बीच में आता है। जो की एक छोटा मंदिर है। और काफी एकांत में भी है। जिसकी वजह से यहां पर काफी कम संख्या में पर्यटक आ पाते है। लेकिन इसकी वास्तुकला और इसका ऐतिहासिक महत्व किसी भी प्रकार से कम नही है। 


22  शिखर चंडी हिल्स 

यह एक पहाड़ी की चोटी है। जो प्राकृतिक दृश्यों की खूबसूरती को दर्शाते है। यह जगह स्थानीय लोगो में तो काफी लोकप्रिय है। जहा पर उनकी ठीक ठाक संख्या देखी जाती है। लेकिन भुवनेश्वर के बाहर से आने वाले पर्यटकों  इसके बारे में इतना या तो पता नही है या फिर वह आते नही है। यहां से पूरे भुवनेश्वर शहर का एक खूबसूरत दृश्य भी देखा जा सकता है। 


3 भुवनेश्वर में घूमने का सही समय 
भुनेश्वर में घूमने की जगह

भुवनेश्वर में घूमने के सही समय की बात करे तो नवंबर से मार्च तक के दिनों में जाना एक सही विकल्प है। क्योंकि इस समय भुवनेश्वर का तापमान लगभग 12 डिग्री सेल्सियस से करीब 30 डिग्री सेल्सियस तक रहता है। जो ठंडा और घूमने में आरामदायक होता है। 

वही गर्मियों में इसका तापमान 30 डिग्री सेल्सियस से ऊपर चला जाता है। जो अलग - अलग जगहों पे घूमने में समस्याएं उत्पन कर सकता है। 

और मानसून में भी भारी वर्षा और कीचड़ और अन्य प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। जो आपकी यात्रा को प्रभावित कर सकती है। 


4 भुवनेश्वर घूमने का खर्चा

भुवनेश्वर घूमने का खर्चा आपकी यात्रा के समय और अवधि पर निर्भर करता है। लेकिन फिर भी एक अनुमानित 3 से 4 दिनों के यात्रा के खर्चे की बात करे तो यह कुछ इस प्रकार से आ सकता है। 

आने जाने का खर्चा 

भुवनेश्वर फ्लाइट से आने जाने का खर्चा आपके शहर से भुवनेश्वर तक लगभग - लगभग 5 हजार रुपये से 10000 हजार रूपये के मध्य का हो सकता है। 

ट्रेन से भुवनेश्वर आने जाने का खर्चा करीब - करीब 2 से 4 हजार रुपये के मध्य तक हो सकता है। 

और बस से यह खर्च आपके शहर से भुवनेश्वर की दूरी पर निर्भर करेगा। जिसकी जानकारी आप नजदीकी बस स्टैंड पर जाकर प्राप्त कर सकते है। 

रुकने का खर्चा

भुवनेश्वर में रुकने के होटल्स का खर्चा अलग - अलग होटल्स पर में अलग - अलग है। जिसमे 1 हजार रूपए से 10 से 20 रूपये तक की और उससे भी ज्यादा खर्चे वाले होटल्स मौजूद है।

खाने पीने का खर्चा 

यह खर्च हर दिन का 200 रुपए से 400 के मध्य का होगा लगभग - लगभग। 

इन सब खर्चे के बारे में जानने के बाद हम एक आंकड़े तक पहुंचे तो अगर आप 3 से 4 दिनों की भुवनेश्वर की यात्रा ट्रेन से करते है। और मिड रेंज होटल्स (2 से 3 हजार तक) में ठहरते है। तो इसका कुल खर्चा करीब 15 हजार रुपये से 20 हजार रुपए के बीच में आएगा। 


5 भुवनेश्वर के प्रसिद्ध और स्थानीय खान पान 
भुनेश्वर में घूमने की जगह

भुवनेश्वर के खान पान में ओडिसा की समृद्ध संस्कृति और पारंपरिक व्यंजनों का स्वाद आता है। जहा पर सबसे लोकप्रिय डिश दालमा है, जो भुवनेश्वर के साथ साथ पूरे ओडिसा का एक प्रमुख भोजन है। 

जो ओडिसा के लोगो की पहली पसंद भी माना जाता है। इसमें दाल के साथ अन्य प्रकार की सब्जियों और स्वादिष्ट मसाले के साथ पकाया जाता है। जिसका स्वाद बहुत स्वादिष्ट और साथ ही स्वास्थ्य के लिए भी अच्छा होता है। 


छेना पोडा - यह भुवनेश्वर की एक प्रसिद्ध और स्वादिष्ट मिठाई है। 

घुंटा - यह एक सब्जी है। जिसे चने की दाल और अन्य सब्जियों को मिलाकर पकाया जाता है। 

सागा भजा - यह हरी पत्तियों वाली सब्जियों से तैयार की जाने वाली एक स्वादिष्ट सब्जी है।

मच्छा भाजा - यह मछली से बनाई वाली डिश है। 


6 भुवनेश्वर में खरीददारी के लिए मुख्य बाजार 

भुवनेश्वर घूमने फिरने के साथ साथ आप यहां पर शॉपिंग भी कर सकते है। जिसके लिए मुख्य है - 


1 स्टैंड चौराह, खरबेला नगर 

यह बाजार भुवनेश्वर के पुराने बाजारों में से एक है। यहां पर विभिन्न प्रकार की दुकानें मौजूद है। यहां पर आप कपड़ो, जूते, इलेक्ट्रॉनिक आइटम और अन्य वस्तुओ की खरीददारी कर सकते है। साथ ही यहां पर स्ट्रीट फूड का भी स्वाद चख सकते है। 

2 उत्कलिका, अशोक नगर 

यह बाजार भुवनेश्वर में मुख्य रूप से हस्तशिल्प की वस्तुओ के लिए प्रसिद्ध है। जहा पर स्थानीय कारीगरो द्वारा वस्तुएं तैयारी की जाती है। जो भुवनेश्वर में खरीदने लायक है। 

3 मार्केट बिल्डिंग, अशोक नगर 

यह बाजार अशोक नगर में स्थित एक भीड़भाड़ वाला बाजार है। जहा पर खरीददारी के लिए कपड़े, जूते अन्य इलेक्ट्रॉनिक आइटम की खरीददारी की जा सकती है। 

4 साड़ी मंदिर, खारबेला नगर 

यह बाजार भुवनेश्वर में साड़ीयो की खरीददारी की एक उत्तम जगह है। जहा से आप साड़ीयो की खरीददारी कर सकते है। 

5 बीएमसी केशरी मॉल, अशोक नगर 

यह भी भुवनेश्वर में खरीददारी करने की एक प्रमुख जगह। जहा से आप कपड़े इत्यादि समान की खरीददारी कर सकते है।


7 भुवनेश्वर में फोटोग्राफी और सनसेट प्वाइंट 

अगर आप फोटोग्राफी करने के शौकीन है। या फिर सनसेट देखना चाहते है। तो आप इन जगहों पर जा सकते है। 

  1. एकाम्र कनन बॉटेनिकल गार्डन
  2. लिंगराज मंदिर
  3. बिंदुसागर झील 
  4. कलिंग स्टेडियम 
  5. धौली हिल्स 
  6. उदागिरी और खंडगिरी की गुफाएं


8 भुवनेश्वर का पारंपरिक पहनावा 

भुवनेश्वर का पारंपरिक पहनावा ओडिसा की समृद्ध संस्कृति और इतिहास को दर्शाता है। हालांकि आज समय भुवनेश्वर जैसे शहर में काफी कम लोग ही है, जो पारंपरिक पहनावे में नजर आते है। लेकिन फिर त्योहारों और विशेष धार्मिक दिनों में लोगो को बड़ी संख्या में भुवनेश्वर के पारंपरिक पहनावे में देखा जा सकता है

जिसमे पुरुष धोती, कुर्ता और सिर या गले में गमछा डालते है। 

और वही महिलाओं भुवनेश्वर की पारंपरिक साड़ी और सोने चांदी के पहनावे में देखी जा सकती है। 


9 भुवनेश्वर की यात्रा कम बजट में कैसे करे 
भुनेश्वर में घूमने की जगह

अगर आपके के पास कम बजट है और फिर भी आप एक अच्छी और यादगार भुवनेश्वर की यात्रा करने के बारे में सोच रहे है। तो हमारे द्वारा दिए गए सुझावों को अमल के लाकर एक किफायती और यादगार यात्रा कर सकते है। 


ट्रेन या बस से यात्रा करे 

भुवनेश्वर पहुंचने के लिए हो सके तो ट्रेन का ही उपयोग करे क्योंकि इसमें आरामदायक और सस्ती यात्रा की जा सकती है। और भुवनेश्वर के लिए देश के विभिन्न शहरो से ट्रेन भी मिल जाती हैं। लेकिन अगर आप किसी कारण वश ट्रेन से यात्रा नही कर पाते है, तो बस की सहायता ले क्योंकि बस और ट्रेन फ्लाइट के मुकाबले काफी सस्ती होती है। 


भुवनेश्वर की यात्रा ऑफसिजन में करे 

अक्सर जब भी हम किसी त्योहार या किसी विशेष दिनों कई पर घूमने जाते है। तो उस जगह की होटल्स और अन्य चीजों के दाम बढ़ जाते है। लेकिन अगर आप भुवनेश्वर में कम बजट की यात्रा करने जा रहे है तो ऐसे समय का चयन करे जब भुवनेश्वर में पर्यटक काफी कम संख्या में घूमने आते है। खासकर जब बच्चो के स्कूल में गर्मियों और सर्दियों की छुट्टियां होती है। तब ज्यादा पर्यटक देखे जाते है। तो ऐसे समय में भुवनेश्वर की यात्रा करने से बचे। 


धर्मशालाएं या सस्ते आश्रम में रुके 

आश्रम या धर्मशालाओ में ठहरे जिससे की यात्रा का खर्च कम से कम हो सके। आश्रम या धर्मसालाओ में ठहरने से पैसे तो कम खर्चे होते ही साथ ही साथ यहां पर एक अलग और शांत वातावरण भी मिलता है। भुवनेश्वर में कुछ धर्माशालाओ के नाम - जैन धर्मशाला, महावीर धर्मशाला और इस्कान गेस्ट हाउस आदि है। 


स्थानीय भोजशालाओ में भोजन करे 

बड़े बड़े रेस्टोरेंट और होटल्स में भोजन का भी अधिक मात्रा में खर्च होता हैं। जो आपकी लॉ बजट यात्रा पर काफी बड़ा प्रभाव कर सकता है। ऐसे में स्थानीय और रोड के किनारे पर लगे ढाबों और लोकल जगहों पर भोजन करे। जिसे आपको यहां अच्छी गुणवत्ता वाला भोजन काफी कम पैसों में मिल जायेगा।


मुफ्त या बिलकुल कम पैसे वाली पर्यटन स्थलो को चुने 

जब आपके रहना, खाना और बाकी सब चीजे सेटल हो जाए तो घूमने समय इस पर्यटन स्थलो का चयन करे, जहा पर प्रवेश शुल्क या देना ही ना हो या फिर देना भी हो तो केवल नाम मात्र का, जिसमे आप लिंगराज मंदिर, धौली हिल्स और चिलिका झील आदि का चयन कर सकते हैं 


10 भुवनेश्वर में रुकने के लिए होटल्स 

भुवनेश्वर में लग्जरी होटल्स 

1 मायफेयर लैगुन होटल ( रेलवे स्टेशन से करीब 7 और हवाई अड्डे से लगभग 9 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है)

2 ट्राडडेंट होटल (रेलवे स्टेशन से करीब 6 और हवाई अड्डे से लगभग 5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।)

3 स्वस्टि प्रीमियम ( रेलवे स्टेशन से करीब 5 किलोमीटर और हवाई अड्डे से 7 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।)


भुवनेश्वर में मध्य रेंज में होटल्स 

1 होटल सेंटरली ( रेलवे स्टेशन से मात्र 1 किलोमीटर और हवाई अड्डे से लगभग 6 किलोमीटर)

2 गिंगर होटल (रेलवे स्टेशन से करीब 6 किलोमीटर और हवाई अड्डे से लगभग 7 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।) 

3 होटल पैल हाइट्स ( रेलवे स्टेशन से करीब 4 किलोमीटर और हवाई अड्डे से 6 किलोमीटर की दूरी कर स्थित है।)


भुवनेश्वर में लॉ बजट के साथ यात्रा करने वाले पर्यटकों के लिए होटल

1 होटल कामत (रेलवे स्टेशन से केवल 1 किलोमीटर और हवाई अड्डे से करीब 4 किलोमीटर की दूरी कर स्थित है।)

2 होटल्स पुष्पा (रेलवे स्टेशन से करीब 3 किलोमीटर और हवाई अड्डे से लगभग 5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित)

3 होटल मार्च (रेलवे स्टेशन से लगभग 1 किलोमीटर और हवाई अड्डे से लगभग 6 किलोमीटर)


11 भुवनेश्वर कैसे पहुंचे 

भुवनेश्वर ओडिसा की राजधानी होने के कारण भारत के विभिन्न प्रमुख और बड़े शहरों से सीधे तौर पर रेल, सड़क और हवाई मार्ग से जुड़ा है। 


रेल मार्ग से 

भुवनेश्वर का मुख्य रेलवे स्टेशन हावड़ा - मुंबई रेल लाइन पर स्थित ओडिसा राज्य के प्रमुख रेलवे स्टेशन में से एक है। जहा से मुंबई, दिल्ली, हैदराबाद, कोलकाता, चेन्नई जैसे शहरों के लिए ट्रेन बड़ी आसानी के साथ मिल जाती है। भुवनेश्वर रेलवे स्टेशन में दिनभर में कई ट्रेनें रूकती है।और साथ ही यहां से बनकर भी चलती है। 

कुलमिलाकर भुवनेश्वर रेलवे स्टेशन लगभग सभी बड़े स्टेशनों और भारत के प्रमुख रेलवे जंक्शन से सीधे तौर पर जुड़ा हुआ। जो रेल के माध्यम से भुवनेश्वर जाने वाले यात्राओं के लिए फायदेमंद है। 


हवाई यात्रा से 

यह हवाई अड्डा भुवनेश्वर के साथ साथ ओडिसा राज्य का प्रमुख अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा है। जहा से भारत के प्रमुख शहरों के लिए हवाई जहाज नियमित रूप से तो उड़ान भरती ही है, साथ इस बीजू पटनायक अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे से विदेशो के लिए भी फ्लाइट का आवागमन चलता है। हवाई अड्डे से अपने गंतव्य तक जाने के लिए आप ई - रिक्शा और अन्य प्रकार के किराए से चलने वाले वाहनों से पहुंच सकते है। 


सड़क मार्ग से 

सड़क मार्ग में भी भुवनेश्वर एक वेल कनेक्टेड सिटी है। जहा से कोलकाता - चेन्नई एनएच 16 राष्ट्रीय राजमार्ग निकलता है। जिस सड़क पर निजी और सरकारी बसे नियमित अंतराल में आवागमन करती है। 

साथ ही अगर आप अपने निजी वाहन से या टैक्सी किराए करके भी भुवनेश्वर आने चाहते है। तो भी आप बड़ी आसानी के साथ भुवनेश्वर पहुंच सकते है। 


12 भुवनेश्वर में घूमने की जगहो से जुड़े QNA 

Q1 भुवनेश्वर में क्या फेमस है ? 

A भुवनेश्वर अपनी संस्कृति और ऐतिहासिक समृद्धि के लिए जाना जाता है। जहा पर कई सारे मंदिर मौजूद है। जिसमे लिंगराज मंदिर, राजारानी मंदिर और इसके अलावा भी कई सारे प्राचीन मंदिर मौजूद है। जिस कारण इस शहर को " City Of Temple" भी कहा जाता है। 

Q2 भुवनेश्वर में खरीदने के लिए क्या प्रसिद्ध है ? 

A भुवनेश्वर अपनी पारंपरिक खरीददारी के लिए मशहूर है। जहा से आप ओडिसा का पारंपरिक वस्त्र, पट्टचित्र, ताराकासी और धोकरा कला आदि की खरीददारी कर सकते है। 

Q3 भुवनेश्वर की प्रसिद्ध मिठाई कौनसी है ? 

A भुवनेश्वर में कई सारी पारंपरिक और स्वादिष्ट मिठाईयां है। जिसमे आप चेनापोडा, रसभोग, काकरा पीठा और मालपुआ का स्वाद अवश्य ले। 

Q4 भुवनेश्वर को सिटी ऑफ टेंपल क्यू कहा जाता है ?

A भुवनेश्वर को सिटी ऑफ टेंपल कहे जाने के पीछे वजह यहां पर मौजूद सैकड़ों की संख्या में मंदिरों का होना है। जिनका निर्माण कई सदियां पहले हुआ था। यहां पर मौजूद मंदिर मुख्य रूप से 7 वी शताब्दी से 13 शताब्दी के मध्य के है। 


13 निष्कर्ष 

अंततः हम यही कहेंगे की भुवनेश्वर, ओडिसा के साथ भारत का एक प्रमुख आधुनिक नगर है। जो आधुनिकता के साथ - साथ अपनी सांस्कृतिक विरासत पेश भी करता है। जहा पर पर्यटकों के घूमने के लिए हर तरह की जगह शामिल है। जिसमे वो धार्मिक स्थलों में, लिंगराज मंदिर, इस्कान मंदिर, रामचंडी मंदिर तो प्राकृतिक दृष्टि से चंद्रगिरी, शिखरचंडी हिल्स और बिंदुसागर झील भ्रमण कर सकते है और इसके अलावा कला के क्षेत्र में ओडिसा राज्य संग्रहालय और नित्य कला आदि जगहों पर घूमने जा सकते है। 

यह था हमारा लेख जिसमे हमने आपको बताया भुवनेश्वर में घूमने की जगह और भुवनेश्वर की यात्रा करने के लिए वे सारी जरूरी बाते और जानकारियां जो एक पर्यटक को भुवनेश्वर जाने से पहले पता होनी चाहिए। अगर आपको यह लेख पसंद आया है, तो इसे अपने अपने मित्रो और परिजनों तक भी सोशल मीडिया के जरिए अवश्य पहुंचाए जिसे अगर वो कभी भुवनेश्वर की यात्रा पर जाते है। तो उनकी यात्रा सुखद हों सके।

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